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Who We Are

(स्वामी जी का संकल्प)

मेरे प्यारे भाइयो, बहनों और साथियो:- प्राचीन समय मे गुरुकुल की शिक्षा मे गुरु और शिष्य के बीच एक आत्मिक संबंध होता था। माता पिता अपने बच्चे को गुरु को पूरे विश्वास के साथ समर्पित कर देते थे और शायद इसीलिए गुरु का दर्जा गोविंद से भी पहले आता है ओर गुरु भी अपनी ज़िम्मेदारी समझते थे कि उनका नाम कलंकित न हो। गुरुकुलों मे सामाजिक , धार्मिक और अध्यात्मिक शिक्षा पर ध्यान केन्द्रित करते हुए शिष्य की समग्र (Holistic) शिक्षापर जोर दिया जाता था जबकि आज शिक्षा एक व्यवसाय का रूप ले चुकी है। जहां गुरु और शिष्य के बीच कोई संबंध दिखाई नहीं देता। स्कूलो को बच्चे के भविष्य की कोई चिंता नहीं होती उन्हे केवल अपने पैसे से मतलब है। दोनों के बीच केवल ग्राहक ओर दुकानदार जैसा संबंध हो गया है। और उसका परिणाम आप सभी आज कल अपने चारो ओर देख रहे है जैसे बढ़ते अपराध, भ्रष्टाचार, बेरोजगारी, वेमनष्य, माता-पिता की सेवा न करना, शादियो का टूटना, परिवार का विघटन, आधुनिकरण को बढ़ावा, संस्कारो की कमी और प्रेम भाव कम होना आदि।

ऐसा क्यो ..........?

इसके लिए सर्वाधिक जिम्मेदार आधुनिक लक्ष्यविहीन, रोजगार विहीन शिक्षा है। लोग अपने माता पिता को व्रद्धाश्रम मे छोड़ रहे हैं। ये हम किधर जा रहे है। एक ऐसा देश जहा मातृदेवोभव:, पितृदेवोभव:, गुरुदेवोभव: के संस्कार हमारे प्राणों मे बसते थे। इसलिए अब वो समय आ गया है जब हम फिर से गुरु ओर शिष्य के बीच वो संबंध स्थापित करें जहां गुरु अपने शिष्य को अपने पुत्र की तरह प्रेम करे और शिष्य भी हृदय से गुरु का सम्मान करे। इस पूरी व्यवस्था को सुधारने एवं फिर वही गौरव शाली मातृ, पितृ, गुरु एवं राष्ट्र भक्त व्यक्ति एवं राष्ट्र के निर्माण के लिये स्वामी जी ने पुनः गुरुकुल शिक्षा व्यवस्था का पुनर्गठन करने का दायित्व एवं संकल्प लिया है। जिसके प्रथम चरण के अंतर्गत 5 सितम्बर 2022 से 5 सितम्बर 2027 तक 5 वर्षो मे भारत मे 8 गुरुकुलों का निर्माण किया जाना है। अगले चरण मे भारत के सभी 773 जिलो की भौगोलिक एवं जनसँख्या स्थिति का आंकलन कर १०८ गुरुकुल संकल्पित हैं। प्रत्येक गुरुकुल मे 108 नियुक्तियां (शिक्षक, खेल प्रशिक्षक, क्लर्क, ड्राईवर, सुरक्षाकर्मी, चपरासी आदि) के अनुसार कुल 10064 (108x108=10064) नियुक्तियां आगामी वर्षो मे की जानी है।


5 गुरुकुलों के लिये जिला बागपत, शामली, मुजफ्फरनगर, गौतमबुध नगर व मेरठ मे दानस्वरूप भूमि प्राप्त हो चुकी है व दूसरे जनपदो से भी लोग भारत गुरुकुल निर्माण अभियान मे बढ़ चढ़ कर हिस्सा ले रहे है। शिक्षा के साथ साथ हमारा उद्देश्य गाँव गाँव से प्रतिभाओं की तलाश करके व उन्हे प्रशिक्षित करके खेलों मे उस स्तर तक पहुंचाना है जहां वो राष्ट्रीय व अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर अपना और देश का नाम रोशन कर सके। इसके लिए भारत गुरुकुल व Aryangateways Sports Foundation एक संयुक्त प्रयास कर रहा है। भारत गुरुकुल व Aryangateways Sports Foundation के संयुक्त तत्वधान मे राष्ट्रीय व अंतर्राष्ट्रीय स्तर के खिलाड़ी निशानेवाज, धनुर्धर, कुश्ती, कबड्डी एवं एथिलिटो के प्रशिक्षण का अभियान भी जोरों पर चल रहा है।

भारत गुरुकुल मे भारतीय संस्कारो को दृष्टिगोचर रखते हुए आधुनिक पाठ्यक्रम के अनुसार शिक्षा प्रदान की जाएगी।

1) भारत गुरुकुल मे प्रत्येक विद्यार्थी के लिए भगवद गीता, नैतिक शिक्षा, संस्कार एवं राष्ट्र भक्ति एक विषय के रूप मे आवश्यक होगी।

2) पाठ्यक्रम सीबीएसई बोर्ड का होगा व गणित, विज्ञान एवं तकनीकी विषयो पर विशेष ज़ोर दिया जाएगा।

3) प्रत्येक विद्यार्थी को साईकिल, मोटर साईकिल, कार आदि वाहनो का प्रशिक्षण गुरुकुल के अंदर ही दिया जाएगा।

4) सभी खेलो की अंतर्राष्ट्रीय स्तर की खेल सुविधाए गुरुकुल प्रांगण मे उपलब्ध होंगी।

5) गुरुकुल मे सभी विद्यार्थियों को एक अच्छा इंसान वनाने के साथ साथ 100% रोजगार की गारंटी होगी।

6) विद्यार्थियों का विकास (वसुधैव कुटुम्बकम) की भावना के अनुसार एक सम्पूर्ण व्यक्तित्व के रूप मे किया जाएगा।

7) मातृ, पितृ, गुरु एवं राष्ट्र भक्ति की शपथ के साथ गुरुदक्षिणा का पर्व प्रत्येक वर्ष मनाया जाएगा।

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